गोली सरहद पे खा रहा है कोई

बेसबब मुस्कुरा रहा है कोई। दर्द शायद छुपा रहा है कोई।। सर्द मौसम में ज़र्द पत्तों सा। ख़्वाहिश-ए-दिल जला रहा है कोई।। माँ के जाने के बाद भी मुझको। दे…

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ग़म को दिल में बसा लिया हमने

☆☆☆☆गजल☆☆☆ ग़म को दिल में बसा लिया हमने। ग़म को अपना बना लिया हमने।। जब दियों को बुझाने वो निकले। खुद को सूरज बना लिया हमने।। बेच कर कह रहा…

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उस नशीली रात में

उनकी आँखों में नूर देखा था हल्का हल्का सुरूर देखा था उस नशीली रात में मैने एक हसीं कोहेनूर देखा था भर लूं आगोश में उन्हें ऐसा ख़ाब मैने ज़रूर…

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